Tamil Nadu Crime: खेत में 10 से ज्यादा मोर मरे मिले, पोस्टमॉर्टम में सामने आई चौका देने वाली वजह, एक को किया गिरफ्तार, जानिए पूरा मामला

मोर के शव त्रिची के मनपराई इलाके में एक खेत से मिले। स्थानीय लोगों ने इसकी सूचना वन विभाग को दी। मौके पर पहुंचे वन विभाग के अधिकारियों को इतने सारे मोर की लाश मिलने पर कुछ शक हुआ।
 
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Tamil Nadu Crime: तमिलनाडु के त्रिची में 15 मोर मरे मिले। इनमें 8 मादा और 7 नर थे। इतनी  बड़ी तादाद में राष्ट्रीय पक्षी की लाशें मिलने से वन विभाग के अधिकारियों में हड़कंप मच गया। मौके पर पहुंचकर अफसरों ने मामले की जांच की। जांच में मोरों की मौत की जो वजह सामने आई, उसने सबको चौंका दिया।

दरअसल, मोर के शव त्रिची के मनपराई इलाके में एक खेत से मिले। स्थानीय लोगों ने इसकी सूचना वन विभाग को दी। मौके पर पहुंचे वन विभाग के अधिकारियों को इतने सारे मोर की लाश मिलने पर कुछ शक हुआ। उन्होंने जहर खुरानी के एंगल से जांच शुरू की।

अमेरिका

वन विभाग की टीम ने सबसे पहले खेत के मालिक से पूछताछ शुरू की। खेत का मालिक 80 साल का एक किसान था, जो रिटायर्ड टीचर था। पूछताछ में कुछ ही देर के अंदर पूरा माजरा सामने आ गया। खेत के मालिक ने बताया कि वह खेत में आने वाले चूहों से परेशान था। चूहे उसकी पूरी फसल बर्बाद कर देते थे। इसलिए चूहों को मारने के लिए उसने खेत में जहर वाले चावल रखे थे। लेकिन, शायद उन चावलों को मोरों ने खा लिया और उनकी मौत हो गई। 

किसान के बयान के बाद वन विभाग की टीम ने एक पशु चिकित्सक को मौके बुलाकर सभी 15 पक्षियों का पोस्टमॉर्टम कराया। पीएण के बाद उन्हें दफना दिया गया। मामला स्पष्ट होने के बाद वन विभाग ने 80 साल के रिटायर्ड शिक्षक के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया।

अमेरिका

त्रिची के किसान ने अपने बयान में कहा है कि उसने जहर चूहे मारने के लिए रखा था। लेकिन उत्तर प्रदेश के बदायूं में एक ऐसा मामला सामने आया था, जिसमें एक निर्मम तरीके से चूहे की हत्या करने वाले शख्स के खिलाफ एक्शन हो गया। एक युवक ने चूहे को पकड़ने के बाद पूंछ में पत्थर बांध कर उसे नाले में फेंक दिया था। 

पशु कार्यकर्ता विकेंद्र शर्मा ने नाले में कूदकर चूहे को बाहर निकाला था। हालांकि, थोड़ी दे बाद चूहे की मौत हो गई थी। बकायदा चूहे का पोस्टमार्टम कराया गया था। हालांकि, पुलिस ने कहा है कि चूहा पशु की श्रेणी में नहीं आता है, इसलिए आरोपी के खिलाफ पशु क्रूरता अधिनियम के तहत एफआईआर नहीं होगी।