फरीदाबाद में इस लेडी डॉक्टर को सलाम, मरीजों के इलाज के लिए टाल दी खुद की शादी

Chaupal TV, Faridabad कोरोना के इस संकट में जो लोगों के सबसे ज्यादा मददगार हो रहे हैं वो डॉक्टर हैं। डॉक्टर और हैल्थ स्टाफ अपना सबकुछ छोड़कर लोगों की मदद कर रहे हैं। इन विषम परिस्थितियों में चिकित्सक सहित स्वास्थ्यकर्मी अपनी जान की परवाह किए बिना दिन-रात कोरोना वायरस संक्रमितों...
 
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फरीदाबाद में इस लेडी डॉक्टर को सलाम, मरीजों के इलाज के लिए टाल दी खुद की शादी

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कोरोना के इस संकट में जो लोगों के सबसे ज्यादा मददगार हो रहे हैं वो डॉक्टर हैं। डॉक्टर और हैल्थ स्टाफ अपना सबकुछ छोड़कर लोगों की मदद कर रहे हैं। इन विषम परिस्थितियों में चिकित्सक सहित स्वास्थ्यकर्मी अपनी जान की परवाह किए बिना दिन-रात कोरोना वायरस संक्रमितों की देखभाल में लगे हुए हैं। अपने कर्त्तव्य को निभाने के लिए अपना घर और अपनों के छोड़कर दिनरात काम कर रहे हैं।

फरीदाबाद में इस लेडी डॉक्टर को सलाम, मरीजों के इलाज के लिए टाल दी खुद की शादी

हरियाणा के जिला फरीदाबाद के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र खेड़ीकला में कार्यरत महिला चिकित्सक डॉ. राखी ने पीड़ितों की अच्छे ढंग से देखभाल की खातिर अपनी शादी तक स्थगित कर दी। डॉ. राखी को अक्सर अस्पताल में ही रात के 12 बज जाते हैं। घर जाने के बाद भी यदि उनकी जरूरत देर रात पड़ती है तो भी वह अस्पताल तुरंत आ जाती हैं।

फरीदाबाद में इस लेडी डॉक्टर को सलाम, मरीजों के इलाज के लिए टाल दी खुद की शादी

कोरोना वार्ड में ड्यूटी कर रहे स्टाफ के सदस्यों से पता चला कि डॉ. राखी की शादी इसी महीने की 14 मई को तय थी, पर कोरोना संक्रमण से पीड़ितों की बेहतर देखभाल को डॉ. राखी ने प्राथमिकता दी और अपनी शादी को भी फिलहाल टाल दिया है।

 

डॉ.राखी बताती हैं कि अस्पताल के वरिष्ठ चिकित्सा अधिकारी डॉ. हरजिंदर सिंह के नेतृत्व में संक्रमितों की देखभाल ठीक प्रकार से संभव हो पा रही है। डॉ. हरजिंदर यहां सभी को अपने परिवार के सदस्य की तरह रखते हैं। खुद उन्हें कितनी परेशानी हो, लेकिन वह अस्पताल में जरूर रहते हैं। हर समय उनका हौसला बढ़ाते रहते हैं। साथ ही स्टाफ नर्स सविता, सरला, अनीता, मनीषा सहित अन्य कर्मचारी भी सेवा के प्रति पूरी तरह से समर्पित हैं।

 

डॉ.राखी ने बताया कि स्वास्थ्य केंद्र 25 बेड का है, लेकिन जब कोई संक्रमित आता है तो उसे स्ट्रेचर पर लिटाकर उसका इलाज शुरू कर दिया जाता है। उसे ऑक्सीजन दी जाती है। जरूरी दवा देते हैं। इसके बाद एंबुलेंस का इंतजाम कर उसे रेफर कर दिया जाता है। उन्होंने बताया कि यहां भर्ती संक्रमितों को बाहर प्रांगण में रोज व्यायाम भी कराया जाता है, ताकि उनका तनाव दूर हो सके।