दिल्ली- पानीपत मेट्रो प्रोजेक्ट पर फिर लगा ग्रहण, ये बड़ी वजह आई सामने

 
दिल्ली- पानीपत मेट्रो प्रोजेक्ट पर फिर लगा ग्रहण, ये बड़ी वजह आई सामने 
WhatsApp Group Join Now

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से लेकर हरियाणा के पानीपत तक प्रस्तावित मेट्रो प्रोजेक्ट विस्तार पर फिर ग्रहण लग गया है। इस बार दिल्ली की आम आदमी पार्टी सरकार ने अड़ंगा लगा दिया है। इस प्रोजेक्ट के विस्तार को लेकर वीरवार को नई दिल्ली में केंद्रीय पावर एनर्जी डिपार्टमेंट और रेलवे स्टैंडिंग कमेटी मीटिंग में चर्चा हुई। प्रोजेक्ट विस्तार को लेकर दिल्ली द्वारा एनओसी नहीं दिए जाने का मुद्दा उठा।

मीटिंग के बाद मीडिया से बातचीत करते हुए हरियाणा से राज्यसभा सांसद बीजेपी नेता कृष्ण लाल पंवार ने आप सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि दिल्ली- पानीपत के बीच मेट्रो में केजरीवाल सरकार बाधा उत्पन्न कर रही है। 

कमेटी सदस्य हैं पंवार

केंद्रीय पावर एनर्जी डिपार्टमेंट और रेलवे स्टैंडिंग कमेटी के बीच हुई इस बैठक में कृष्ण लाल पंवार बतौर कमेटी सदस्य शामिल हुए थे। उन्होंने बताया कि रेल और मेट्रो के हरियाणा तक विस्तार करने पर हरियाणा सरकार मंजूरी दे रही है लेकिन दिल्ली की केजरीवाल सरकार द्वारा NOC नहीं दिए जाने की जानकारी दी गई। 

103 km में 17 स्टेशन

दिल्ली-पानीपत कॉरिडोर का उद्देश्य राष्ट्रीय राजधानी को हरियाणा के मुरथल, गन्नौर, समालखा और पानीपत से जोड़ना है। एनसीआरटीसी के एक अधिकारी ने बताया कि इससे इंडस्ट्री, एजुकेशन, स्पोर्ट्स, ऑफिस, रेजिडेंशियल समेत हर तरह के विकास कार्यों में तेजी आएगी। इस कॉरिडोर की कुल लंबाई 103 Km होगी जिसमें मुरथल डिपो सहित 17 स्टेशन होंगे।

वित्तीय सहायता से भी इंकार

दिल्ली सरकार दिल्ली-एसएनबी (शाहजहांपुर-नीमराना-बेहरोर) और दिल्ली-पानीपत कॉरिडोर के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करने पर भी सहमत नहीं हुई है। मंत्रालय की ओर से राज्यसभा में कहा गया है कि दिल्ली-पानीपत कॉरिडोर के लिए हरियाणा सरकार की मंजूरी और वित्तीय प्रतिबद्धता के साथ डीपीआर और दिल्ली-एसएनबी कॉरिडोर के लिए हरियाणा और राजस्थान की वित्तीय प्रतिबद्धता के साथ मंजूरी प्राप्त हो गई है।