Reverse waterfall : इस झरने पर काम नहीं करता न्यूटन का लॉ, नीचे से ऊपर की ओर बहता है ये झरना, देख कर रह जाएंगे दंग

किस तरह से हो रहा ये चमत्कार, जानिए पूरी डिटेल
 

Reverse waterfall : अब तक आपने ये ही देखा, सुना और पढ़ा होगा कि झरना ऊपर से नीचे की ओर बहता है। लेकिन एक झरना ऐसा भी है जो इस सब के विपरीत है। इस झरने का पानी नीचे से ऊपर की ओर बहता है। यहां न्यूटन का नियम भी काम नहीं करता, जिसके अनुसार कहा जाता है कि गुरुत्वाकर्षण के कारण कोई भी चीज आसमान की तरफ जाने के बाद वापस जमीन की ओर ही आती है। इस झरने पर यह नियम लागू नहीं होता है। यह झरना उल्टा बहता है। इसका पानी किसी अजूबे की तरह नीचे से ऊपर की ओर जाता है। कई बार इसी तरह की विज्ञान को भी चुनौती देने वाली घटनाएं दिख जाती हैं।

यह उलटा बहने वाला झरना किसी दूसरे देश नहीं, बल्कि अपने ही देश में है। पूणे के नानेघाट के जुन्नार के पास ये झरना महाराष्ट्र के पश्चिमी घाट में मौजूद है। मुंबई से लगभग 3 घंटे की दूरी पर मौजूद ये घाट उल्टे झरने यानि रिवर्स वॉटरफॉल के लिए जाना जाता है। इसकी खासियत ये है कि झरने का पानी ऊपर की ओर जाता है, नीचे नहीं। इसे देखने के लिए लोगों का तांता लगा रहता है।

न्यूटन के लॉ को कर रहा चैलेंज

बचपन से लेकर जवानी तक जितनी भी विज्ञान की पढ़ाई की है, उन किताबों में तो हमने यही पढ़ा है कि ऊपर से कोई भी चीज़ गिरे तो नीचे ही आती है, फिर चाहे ये कोई भारी चीज़ हो या फिर पानी। नानेघाट का ये झरना घाट की ऊंचाई से नीचे गिरने के बजाय ऊपर की ओर जाता है। इससे जुड़ा हुआ एक वीडियो भी वंडर ऑफ साइंस नाम के ट्वीटर अकाउंट से सांझा किया गया है और इस वीडियो को अब तक चार लाख से ज्यादा लोग सीन कर चुके हैं।

इस तरह से होता है ये चमत्कार ?

वैसे तो ये चमत्कार जैसा ही लगता है लेकिन बताया जाता है कि जब हवा की रफ्तार का मैग्नीट्यूड गुरुत्वाकर्षण शक्ति के बराबर या ज्यादा होता है, तो ऐसा होता है। वैज्ञानिकों का कहना है कि यहां हवा बहुत तेज़ चलती है और उसका बल गुरुत्वाकर्षण से ज्यादा हो जाता है और नीचे गिर रहे झरने के पानी को भी ऊपर उड़ा लेता है। वजह कुछ भी हो, पर्यटकों को मॉनसून सीज़न में ये झरना खूब आकर्षित करता है।